संभल में शाही जामा मस्जिद के नीचे मंदिर होने को लेकर हुए विवाद और हिंसा के बीच जिला प्रशासन ने हैरान करने वाला दावा किया है। जिला प्रशासन ने रविवार को मीडिया को बताया कि पिछले साल इस इलाके में चार मस्जिदों और एक मदरसे द्वारा 1.3 करोड़ रुपये की बिजली चोरी की गई है। प्रशासन के मुताबिक ये मस्जिद और मदरसा उस “पुराने मंदिर” के नजदीक स्थित हैं जिसके बारे में शनिवार को ही पता चला था। याद दिला दें कि नखासा थाना क्षेत्र के मोहल्ला खग्गू सराय में 46 साल से बंद पड़ा भगवान शिव का मंदिर मिला था। प्रशासन ने इस मंदिर को पूजा-अर्चना के लिए खोल दिया है।

बिजली चोरी की घटनाओं की जांच के लिए पुलिस, जिला प्रशासन और उत्तर प्रदेश

बिजली चोरी से जुड़ी 1,250 FIR दर्ज

संभल के डीएम राजेंद्र पेंसिया ने दावा किया था कि शनिवार को जब वह लाउडस्पीकर की जांच कर रहे थे, तब उन्होंने इस इलाके में बिजली चोरी होते हुए देखी थी। पेंसिया ने द इंडियन एक्सप्रेस को बताया कि सितंबर से अब तक बिजली चोरी से जुड़ी 1,250 एफआईआर दर्ज की जा चुकी हैं।

नाम न जाहिर करने की शर्त पर एक सरकारी अफसर ने द इंडियन एक्सप्रेस को बताया, “हर साल संभल नगर पालिका क्षेत्र में करीब 300 करोड़ रुपये की बिजली सप्लाई की जाती है। यहां लाइन लॉस 72% है। सबसे ज्यादा नुकसान दीपा सराय और मिया सराय जैसे इलाकों में हो रहा है और यह करीब 85% है।”

विद्युत निगम के अधिकारियों की संयुक्त टीम ने संभल के दीपा सराय और नई सराय इलाकों में भी छापेमारी की।

मस्जिद की ऊपरी मंजिल पर बना था अवैध बिजली घर

पुलिस ने बताया है कि एक मस्जिद की ऊपरी मंजिल पर एक “अवैध बिजली घर” भी बना हुआ मिला है और यहां से इस इलाके के 100 से ज़्यादा घरों को बिजली की सप्लाई की जा रही थी। एक अन्य मस्जिद में जहां 59 पंखे, एक फ्रिज और 30 लाइट पॉइंट हैं, वहां तो बिजली मीटर को ही बंद कर दिया गया है।

इस तरह से भी बिजली चोरी हो सकती है?

डीएम पेंसिया ने कहा कि बिजली चोरी रोकने के लिए चलाए गए अभियान में पता चला है कि लोग पांच से छह तरीकों से बिजली चोरी करते हैं। इनमें से कुछ तरीके हमारे लिए भी नए हैं और हमें पता ही नहीं था कि इस तरह से भी बिजली चोरी हो सकती है।

डीएम ने कहा कि लोग जानबूझकर अपने मीटर चोरी करवा रहे हैं और बिल नहीं भर रहे हैं। ऐसे लोग बिजली चोरी करने के लिए फेज-चेंज तरीके का भी इस्तेमाल कर रहे हैं। हमें ऐसे भी मामले मिले हैं, जहां मीटर तक पहुंचने वाले तार को दो हिस्सों में बांट दिया गया था। डीएम ने बताया कि पुलिस और प्रशासन के संयुक्त अभियान के दौरान उन्हें जमीन पर करीब 4,000 कटे हुए तार मिले।

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