विजडम इंडिया।
देहरादून, 30 सितम्बर 2025।
रास बिहारी बोस सुभारती विश्वविद्यालय, देहरादून में “स्वस्थ नारी, सशक्त नारी” विषय पर भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया गया। यह कार्यक्रम “सेवा पखवाड़ा 2025” की श्रृंखला का एक महत्वपूर्ण पड़ाव रहा, जिसमें महिला उत्थान, आत्मनिर्भरता और नवाचार को केन्द्र में रखा गया।
मुख्य अतिथि श्रीमती कुसुम कांडपाल, अध्यक्ष उत्तराखंड महिला आयोग ने दीप प्रज्वलन कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया। अपने उद्बोधन में उन्होंने विश्वविद्यालय की इस सार्थक पहल की प्रशंसा की और कहा कि “समाज के वास्तविक उत्थान की राह महिलाओं के आत्मविश्वास और उनके सशक्त योगदान से ही होकर गुजरती है।”
कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए माननीय कुलपति प्रो. डॉ. हिमांशु ऐरन ने महिला सशक्तिकरण पर जोशीला और दूरदर्शी संबोधन दिया। उन्होंने कहा –
“सशक्त समाज की बुनियाद एक सशक्त नारी ही रख सकती है। आज का युग कृत्रिम बुद्धिमत्ता और AI का युग है, और यदि महिलाएँ सकारात्मक ढंग से इस तकनीक का प्रयोग करना सीख लें तो वे न सिर्फ़ अपने लिए बल्कि आने वाली पीढ़ियों के लिए भी सुरक्षित और सशक्त भविष्य गढ़ सकती हैं।”

उनका यह वक्तव्य कार्यक्रम की आत्मा साबित हुआ और उपस्थित सभी जनों ने तालियों की गड़गड़ाहट से उनका स्वागत किया।
क्लिनिकल साइकोलॉजिस्ट सुश्री संवेदना शुक्ला ने समाज में व्याप्त लैंगिक अंतर और मानसिक स्थिति पर गहरे विचार रखे। उन्होंने कहा –
“लड़कियों और लड़कों के बीच की खाई केवल अवसर और दृष्टिकोण की खाई है। यदि समाज इस अंतर को मिटा दे, तो हमारी अगली पीढ़ी अधिक संवेदनशील और न्यायपूर्ण बनेगी।”
उनकी गंभीर और सार्थक बातों ने श्रोताओं को आत्ममंथन करने पर विवश किया।
युवा उद्योगपति श्री विनम्र ऐरन ने युवाओं को उद्यमिता और अन्वेषण की दिशा में प्रेरित किया। उनका व्याख्यान न केवल सूचनाप्रद बल्कि प्रेरणादायक भी रहा। उन्होंने AI टेक्नोलॉजी पर आधारित क्विज गतिविधियों का आयोजन किया, जिसमें छात्रों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया। उनकी रोचक प्रस्तुति ने पूरे माहौल को ऊर्जावान बना दिया।
श्री अभिषेक ने आत्मरक्षा विषय पर व्यावहारिक जानकारी दी और महिलाओं को अपने आत्मविश्वास को हथियार बनाने का संदेश दिया तथा आत्मरक्षा के उपायों का जीवंत एवं प्रभावित प्रदर्शन अपनी टीम के माध्यम से किया।


इस अवसर पर मेजर जनरल डॉ. जी.के. थपलियाल ने भी महिला सशक्तिकरण पर अपने विचार रखते हुए कहा कि महिलाएँ आज किसी भी क्षेत्र में पीछे नहीं हैं और उन्हें समान अवसर मिलना ही चाहिए।


कार्यक्रम में प्रो वाइस चांसलर, रजिस्ट्रार, डीन, प्रिंसिपल, एचओडी और एचओआई सहित सभी विभागों के शिक्षकों और विद्यार्थियों ने गरिमामयी उपस्थिति दर्ज कराई।

अंत में धन्यवाद ज्ञापन कुमारी वंशिका ने प्रस्तुत किया।कार्यक्रम के सफल आयोजन में डीन स्टूडेंट वेलफेयर, नीतिका कौशल का उल्लेखनीय योगदान रहा, वहीं नर्सिंग कॉलेज की मिस लूफिना ने अपने मोहक अंदाज़ और कुशल संचालन से पूरे समारोह की गरिमा को और बढ़ा दिया।

रास बिहारी बोस सुभारती विश्वविद्यालय का उद्देश्य हमेशा से समाज और राष्ट्र निर्माण की दिशा में ठोस योगदान देना रहा है। यहाँ शिक्षा केवल पाठ्यक्रम तक सीमित नहीं रहती, बल्कि संस्कार, संस्कृति और सामाजिक उत्तरदायित्व की धारा से भी विद्यार्थियों को जोड़ा जाता है। यही कारण है कि विश्वविद्यालय आज उत्तराखंड में प्रगतिशील शिक्षा और सकारात्मक परिवर्तन का सशक्त प्रतीक बन चुका है।

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