मऊ मे शुक्रवार को पुलिस ने किसान से अष्ठधातु प्रतिमा जब्त कर पुरातत्व विभाग के साथ प्रशासन को इससे अवगत कराया। मिली प्रतिमा मां लक्ष्मी की बतायी जा रही है। मिली मूर्ती का एक हाथ क्षतिग्रस्त है, जिसको संज्ञान लेकर पुलिस ने क्षतिग्रस्त हिस्सा को किसान से वापस मंगवाया।
स्थानीय कोतवाली क्षेत्र के बड़ागांव पूर्वी में खेत की जोताई करने के दौरान एक किसान को अष्टधातु की मूर्ती मिली। जिसके उसके द्वारा छुपाने का प्रयास किया गया, लेकिन इस बीच किसी ने इस प्रतिमा की फोटो सोशल मीडिया पर वायरल कर दी। जिसके बाद बीते शुक्रवार को पुलिस ने किसान से अष्ठधातु प्रतिमा जब्त कर पुरातत्व विभाग के साथ प्रशासन को इससे अवगत कराया। मिली प्रतिमा माॅ लक्ष्मी का बताया जा रह है। मिली मूर्ती का एक हाथ क्षतिग्रस्त है, जिसको संज्ञान लेकर पुलिस ने क्षतिग्रस्त हिस्सा को किसान से वापस मंगवाया।
जानकारी के अनुसार घोसी नगर के बड़ागांव पुर्वी मोहल्ला निवासी रोहित उर्फ जोगाड़ी बीते शुक्रवार की शाम को पम्पसेट से बड़ागांव मनिकापुर के सिवान स्थित मानिकपुर असना निवासी एक व्यक्ति के खेत की पास स्थित तालाब के उत्तरी छोर से सिचाई कर रहा था।पानी घटने पर जब रोहित राम पोखरी में। पानी के लिए सफाई करने लगे तो एक बोर में बंधे कोई वस्तु दिखाई दिया। जब उसको खोलने लगे तो तीन बोरे के अंदर एक फ़ीट से ऊंचीधातु की मूर्ति मिली, जिसे वह लेकर अपने घर चला आया। इस बीच किसी ने मूर्ति की फोटो लेकर अपने लोगों मे भेज दिया। मूर्ति जब मिली थी तब फोटो में उसके चारों हाथ थे और सिर पर शेषनाग की मूर्ति और बाएं हाथ में कमल का फूल था।
इस बीच किसी ने इसकी सूचना कोतवाली पुलिस को देकर बरामद करने की बात कही। इस बीच रोहित के मनमे किसी माध्यम से लालच आ गया और उसने मूर्ति को अपने घर मे छुपाने के उद्देश्य से गाड़ दिया। सूचना पर पहुंची पुलिस ने मूर्ती के बारे में जब जानकारी ली तो उसके द्वारा पुलिस को पहले न मिलने की बात कही गई, कड़ाई से पूछताछ पर उसने छुपाई मूर्ती को घोसी कोतवाली पुलिस को सौप दिया। जब लोगों ने पहले के फोटो में मूर्ति के सभी हाथों को सही और कमल के फूल को साथ देखा था। जब इसको कोतवाल को बताया तो उन्होंने पूछताछ किया तो कमल सहित टूटे हाथ को लाकर दे दिया। लोगों में चर्चा रही कि खेत के पास स्थित के एक व्यक्ति द्वारा मूर्ति के मिलने पर रोहित से मिलकर धन का लालच दिया होगा और एक हाथ को तोड़ कर उसके विषय में जानकारी के लिए ले गया होगा। जनचर्चा और पुलिस के दबाव के बाद मूर्ति के टूटे कमल सहित हाथ को वापस कर दिया।इस संबंध में कोतवाल राजकुमार सिंह ने बताया कि मूर्ति को शुक्रवार की रात्रि आठ बजे कोतवाली के रोहित से लेकर मंदिर में रखवाया दिया गया है।मूर्ति की कमल फूल सहित हाथ क्यों तोड़ा गया और इसके पीछे कौन लोग है, जाच कर कार्यवाही होगी।