बांग्लादेश के स्टार ऑलराउंडर शाकिब अल हसन ने गुरुवार को स्वीकार किया कि भारत का टेस्ट दौरा करना सबसे कठिन है और उनके स्टार खिलाड़ियों को देखते हुए पिचों से ज्यादा फर्क नहीं पड़ता। ऐसा लग रहा है सीरीज के दूसरे टेस्ट मैच से पहले शाकिब हौसला हार गए हैं। सीरीज से पहले जहां बांग्लादेशी खिलाड़ी भारत को हराने का दम भर रहे थे, वहीं ऐसे में शाकिब का यह बयान दिखाता है कि पहले टेस्ट में 280 रनों की हार का टीम के मनोबल पर कितना असर पड़ा है।

बांग्लादेश 2000 के बाद से भारत के खिलाफ अपनी पहली टेस्ट जीत की कोशिश में है। दोनों टीमें एक दूसरे के खिलाफ 14 बार खेल चुकी हैं, जिसमें भारत ने 12 मुकाबले जीते हैं जबकि बाकी दो मैच ड्रॉ रहे। जब शाकिब से पूछा गया कि क्या भारत का दौरा सचमुच कठिन होता है तो उन्होंने कहा, ‘अगर आप दूसरे देशों को देखें तो वे कभी-कभार एक या दो मैच हार जाते हैं। लेकिन भारत में, आप उन्हें टेस्ट मैचों में हारते हुए शायद ही देखते हो। इसलिए आप सही हैं।’

उन्होंने कहा, ‘हमने बांग्लादेश में वनडे सीरीज में उनके खिलाफ जीत हासिल की। हम बांग्लादेश में टेस्ट मैच में उनके खिलाफ मैच जीतने के बहुत करीब थे। टेस्ट क्रिकेट में हमें वैसी सफलता नहीं मिली है जिसकी हम कोशिश में जुटे हैं। कानपुर में हमारे पास एक और मौका है।’ उन्होंने कहा, ‘मुझे लगता है कि चेन्नई में हमने टुकड़ों में अच्छा खेल दिखाया। लेकिन साढ़े तीन दिन में मैच खत्म करना हमारे लिए आदर्श नहीं था। हमें लगा कि हम उनसे बेहतर टीम हैं। इसलिए हमें कल के मैच में यह दिखाना होगा।’

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