ताजमहल में भगवा पहनकर जाने और ब्रह्मदंड साथ में होने पर प्रवेश न देने के मामले में मंगलवार को हाईकोर्ट ने जिम्मेदारों से चार हफ्ते में जवाब मांगा है। कोर्ट ने एएसआई, प्रशासन और पुलिस के अधिकारियों से कारण बताने को कहा है। जनहित याचिका अयोध्या के संत जगद्गुरु परमहंस आचार्य ने डाली थी। तीन मई को ताजमहल में भगवा और ब्रह्मदंड के साथ प्रवेश न मिलने पर जगद्गुरु परमहंस आचार्य ने जनहित याचिका डालकर कोर्ट की शरण ली थी। इस पर मंगलवार को सुनवाई हुई। कोर्ट ने पूरी बात सुनने के बाद द्वितीय पक्ष को चार हफ्ते में जवाब देने को कहा है। कोर्ट ने संस्कृति मंत्रालय दिल्ली, मुख्य पुरातत्व अधीक्षक दिल्ली, अधीक्षण पुरातत्वविद आगरा सर्किल राजकुमार पटेल, जिलाधिकारी प्रभु एन सिंह, तत्कालीन एसएसपी और सीओ ताज सुरक्षा को कारण बताने के लिए कहा है। ये था मामलाइसी साल तीन मई को अयोध्या के संत जगद्गुरु परमहंस आचार्य ताजमहल का दीदार करने के लिए गए थे। हाथ में ब्रह्मदंड होने के कारण प्रवेश नहीं मिल सका। उसके दो दिन बाद वह फिर से ताजमहल का दीदार करने पहुंचे तो पुलिस ने उन्हें हिरासत में ले लिया था। उन्हें एक दिन कीठम में नजरबंद भी रखा था। बाद में अयोध्या भेज दिया था।

2022-07-12 16:06:58 https://www.wisdomindia.news/?p=3594

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